Ek Tanha Shayar
Ek Tanha Shayar
Ishq ko bayan karna ibaadat se kam nhi hota,
Ishq me koi apna ya paraya nhi hota,
Hota he wo insaan dil ke bahut kareeb,
Lafzo me kabhi ishq bayaan nhi hota
-Shubham Dave
बिखरा सा दिल टूट गया तन्हाई में,
आस तो सब की थी मगर,
सब छोड गए वीरानी में,
-Shubham Dave
अकेलेपन की महफिल में सितारे गवाह है,
मुज से जुडी तन्हाई की ये दास्तान है,
रातो को जागता हुं सोने के प्रयास में,
यही मेरे दिल में दबी आवाज है
-Shubham Dave
कहानी का रुख चंद लम्हों में बदल देता हूं,
टूटे हुए दिल को भी में संभाल लेता हूं,
में तो एक तन्हा शायर हुं यारो,
कलम की नोक पर पूरी कायनात सजा देता हूं
-Shubham Dave
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